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पीएम स्व-निधि योजना ने मप्र के स्ट्रीट वेंडर्स के बदले हालात

देश में गहराए कोरोना संकट के कारण गरीब तबके पर पड़े असर से उबारने के मकसद से स्ट्रीट वेंडर्स के लिए शुरु की गई प्रधानमंत्री स्व-निधि योजना ने बड़ा बदलाव लाने का काम किया है। इस योजना के लाभार्थियों ने अपने अनुभव प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ साझा किए। प्रधानमंत्री मोदी ने बुधवार को राज्य के स्ट्रीट वेंडर्स से संवाद किया और जमीनी हालात को जाना। इंदौर के सांवेर के छगन लाल ने प्रधानमंत्री मोदी को बताया कि स्व-निधि योजना ने किस तरह उसे समस्या से उबारने का काम किया है। छगन लाल ने बताया कि वह झाड़ू बनाकर बेचने का काम करता है, मगर कोरोना की पूर्णबंदी के कारण उसके कामकाज पर असर पड़ा, अब स्व-निधि येाजना के तहत मिले कर्ज से उसके कारोबार को फि र गति मिलने लगी है ।

छगन लाल ने बताया कि एक दिन परिवार के सदस्यों के साथ मिलकर पचास से ज्यादा खजूर की झाड़ू बनाता है और उसके बाद अगले दिन बेचता है, अब उसका परिवार ठीक चल रहा है। प्रधानमंत्री ने उसे परामर्श भी दिया कि झाडू में पाइप आदि का जो उपयोग होता है, उसे खरीदार से झाडू के खराब होने पर वापस लेने का प्रयास करना चाहिए, ताकि उसका रिसाइकिल कर देाबारा उपयोग में लाया जा सके, साथ ही खराब न हुए हिस्से का उपयोग कर लागत को कम किया जा सकता है।

इसी तरह ग्वालियर की अर्चना शर्मा ने अपने अनुभव के आधार पर बताया कि वे टिक्की सेंटर चलाती है। उन्हें स्व-निधि योजना के तहत बगैर ब्याज के कर्ज मिलने की बात पता चली तो उन्होंने नगर निगम मे संपर्क किया और उनका कर्ज मंजूर हो गया। अब उनका कारोबार बेहतर तरीके से चल रहा है।

राजधानी भोपाल के पास रायसेन जिले के सांची में सब्जी बेचने वाले ढाल चंद ने प्रधानमंत्री को बताया कि वह सड़क किनारे सब्जी का ठेला लगता है और एक जमीन भी किराए पर ले रखी है और उस पर सब्जी पैदा कर रहा है। ढाल चंद ने बताया कि स्व-निधि उसके लिए बडी मददगार बनी है। वह डिजिटल पेमेंट का भी सहारा ले रहा है जिससे लेन-देन में किसी तरह की दिक्कत नहीं हो।

आधिकारिक तौर पर दी गई जानकारी के अनुसार, मध्यप्रदेश में कोविड-19 की मुश्किल घड़ी में प्रधानमंत्री स्व-निधि योजना में एक लाख हजार छोटे-छोटे व्यवसाइयों को व्यवसाय उन्नयन के लिए ऋण दिया गया। इन्हें कुल 115 करोड़ रूपए की राशि मंजूर की गई। इस योजना में सिर्फ तीन हफ्ते में 8 लाख 78 हजार पंजीयन किए गए।

उल्लेखनीय है कि एक जून से शुरू पीएम स्वनिधि योजना में मध्यप्रदेश में चार लाख पथ विक्रेताओं को परिचय पत्र और वेंडर प्रमाण पत्र भी जारी किए गए हैं। कुल दो लाख 40 हजार पात्र हितग्राहियों के आवेदन पोर्टल पर बैंकों के समक्ष प्रस्तुत किए जा चुके हैं। अब तक एक लाख 15 हजार हितग्राहियों को मंजूरी मिल चुकी है।

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